पेट्रोल-डीजल संचालक 15 से अनिश्चितकालीन धरने पर
राजस्थान में पेट्रोल-डीजल पंप की हड़ताल ने आम जनजीवन को ठप कर दिया है। हड़ताल के पहले दिन वाहन चालक एक पंप से दूसरे पंप तक परेशान होते नजर आए। कुछ लोग पंपों के बाहर ही गाड़ी छोड़ गए। आज और कल पेट्रोल पंप बंद होने से सरकार को भी करीब 40 करोड़ के राजस्व का नुकसान होगा। ऑपरेटर्स ने चेतावनी दी है कि यदि उनकी मांगें नहीं मानी गई तो 15 सितंबर से वे अनिश्चतकालीन हड़ताल करेंगे। हालांकि शाम 6 बजे बाद पेट्रोल पंप शुरू हो गए लेकिन गुरुवार सुबह 10 बजे से दोबारा पंप बंद हो जाएंगे।
राजस्थान पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन का कहना है कि पड़ोसी राज्यों में पेट्रोल-डीजल सस्ता होने से राजस्थान में बिक्री घटी है। एसोसिएशन का दावा है कि बिक्री नहीं होने से राजस्थान में पिछले 3 साल में 270 पम्प बंद हो चुके हैं। कई पम्प बिकने की कगार पर भी हैं। पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष रहे सुनीत बगई कहते हैं कि पड़ोसी राज्यों ने अपना कार्टल बनाया हुआ है। उनके बीच पेट्रोल और डीजल की कीमतों में 1 से 2 रुपए से ज्यादा का अंतर नहीं है। वहीं राजस्थान में यह अंतर 11 से 16 रुपए तक है। ऐसे में अगर वैट कम हो तो राजस्थान में पेट्रोल 16 रुपए तक और डीजल 11 रुपए तक सस्ता हो सकता है। ऐसे में राजस्थान में पेट्रोल लगभग 97 रुपए और डीजल 90 रुपए के आसपास पहुंच सकता है। राजस्थान में वैट कम करने की मांग को लेकर आज 7000 से ज्यादा पेट्रोल पंप सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक बंद है। इसका सबसे ज्यादा नुकसान आम जनता को उठाना पड़ रहा है। लोग अपनी गाडिय़ों में पेट्रोल और डीजल भराने के लिए अब दर-दर की ठोकर खाने को मजबूर हो रहे हैं।