कुत्ते ने काटा वकील को, भारी पड़ा निगम को… भरना होगा हजारों का हर्जाना
आवारा कुत्ते के काटने के मामले में स्थाई लोक अदालत बीकानेर ने नगर निगम को जिम्मेदार ठहराया है। अदालत ने नगर निगम पर 15 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है। यह जुर्माना निगम पीड़ित व्यक्ति को 15 दिन के भीतर देगा। तय समय में भुगतान नहीं करने पर पीड़ित छह प्रतिशत के हिसाब से ब्याज लेने का हकदार होगा। यह निर्णय स्थाई लोक अदालत (जनोपयोगी सेवा) अध्यक्ष महेश कुमार शर्मा एवं सदस्य प्रियंका पुरोहित ने मंगलवार को सुनाया।
न्यायालय ने निर्णय में कहा कि नगर निगम पीड़ित को भुगतान करने के बाद संबंधित ठेकेदार से राशि वसूल करेगा। पीड़ित नगर निगम से मानसिक संताप के तीन हजार रुपए व परिवाद व्यय के दो हजार रुपए भी लेना का हकदार है।अधिकारी नहीं करते सुनवाईपीड़ित ने बताया कि गली से आवारा कुत्तों को पकड़ने के लिए नौ जनवरी, 21 को नगर निगम आयुक्त को पार्षद के मार्फत प्रार्थना-पत्र दिया। नगर निगम की ओर से आवारा कुत्तों को पकड़ने की कोई कार्रवाई नहीं की गई। राजस्थान के टोल फ्री नंबर 181 पर 15 बार शिकायत दर्ज कराई, तो वहां से फर्जी कुत्तों के झुंड को उठाने की बात का जवाब तो दिया, हालांकि कोई कार्रवाई नहीं की।
यह है मामला-
लूणकरनसर तहसील के रामसरा गांव हालपता जय नारायण व्यास कॉलोनी 4-ई-305 निवासी रामप्रकाश (39) पेशे से अधिवक्ता है। वे 29 सितंबर, 2021 को न्यायालय आने के लिए घर से निकल रहे थे। तभी बाहर गली में गाड़ियों के नीचे बैठे कुत्तों के झुंड में से एक कुत्ते ने पीछा कर उनके पैर में काट खाया। इससे पहले सात जुलाई, 21 को बहन रागेश्वरी को भी कुत्ते ने काट लिया था, जिसका पीबीएम अस्पताल में उपचार करवाया। छह जनवरी, 21 को घर आए रिश्तेदार भंवरलाल अध्यापक को, 15 अगस्त, 21 को रिश्तेदार श्यामसुंदर जोइया को कुत्ते ने काट लिया था।