मर्डर के मामले में तीन साल बाद आया फैसला , अब आजीवन कारावास
बीकानेर। हत्या के तीन वर्ष पुराने प्रकरण में अपर सेशन न्यायालय संख्या पांच ने अभियुक्त को आजीवन कारावास की सजा दी है। साथ ही न्यायालय ने अभियुक्त पर अलग-अलग धाराओं में एक लाख रुपए से ज्यादा का जुर्माना भी लगाया है। अपर लोक अभियोजक धर्मेन्द्र रंगा ने बताया कि करीब तीन वर्ष पहले कोटगेट पुलिस थाना में इस प्रकरण की रिपोर्ट दर्ज की गई थी। जिसमें अभियुक्त जितेन्द्र उर्फ जीतू उर्फ कालू पुत्र धन्नाराम निवासी कमला कॉलोनी पर प्रेमकुमार सरदाना पर चाकू से वार कर हत्या करने के आरोप थे। विचारण के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से 13 गवाहों के बयान न्यायालय में करवाए गए। साथ ही बतौर सबूत 28 दस्तावेज पेश किए गए। दोनों पक्षों की दलीलें और बहस सुनने के बाद अपर सेशन न्यायालय संख्या-5 के पीठासीन अधिकारी अनुपम सिडाना ने अभियुक्त जितेन्द्र उर्फ जीतू उर्फ कालू को भारतीय दंड संहिता की धारा-341 में एक माह का साधारण कारावास और दो सौ रुपए अर्थदण्ड, भादसं की धारा-327 में 7 वर्ष का कठोर कारावास और 5 हजार रुपए का अर्थदण्ड, भादस की धारा-302 में आजीवन कारावास और एक लाख रुपए का अर्थदण्ड तथा आम्र्स एक्ट की धारा 4/25 में दो वर्ष का कठोर कारावास और दस हजार रुपए जुर्माना का दण्डादेश दिया।
साथ ही न्यायालय की ओर से पीडि़त प्रतिकर स्कीम के तहत मृतक के वारिसान को क्षतिपूर्ति राशि दिलवाने की अनुशंसा की गई।ये है प्रकरणपरिवादी पक्ष की ओर से पैरवी करने वाले अधिवक्ता किशन सांखला और अधिवक्ता आशा भाटी ने बताया कि 2 अगस्त, 2020 को एमपी नगर में रहने वाले रवि सरदाना की ओर से कोटगेट थाना में रिपोर्ट दी गई थी। जिसमें उन्होंने कहा था कि वह अपने चाचा प्रेमकुमार सरदाना से मिलने उनके कमला कॉलोनी स्थित घर गए थे। वहां पता लगा कि प्रेमकुमार सरदाना बड़ा हनुमान मंदिर के पास लगे अपने फ्रूट गाड़ों पर ग्राहकी संभालने गए हुए हैं। तब वे वहीं कमला कॉलोनी में स्थित हनी की दुकान पर बैठकर अपने चाचा का इंतजार करने लगे।कुछ देर बाद शाम चार बजे के करीब उनके चाचा प्रेमकुमार सरदाना आते दिखाई दिए। इसी बीच जितेन्द्र उर्फ जीतू उर्फ कालू ने उनके चाचा को रोक लिया और उनके पेट में धारदार चाकू से वार कर दिया। जिससे प्रेमकुमार सरदाना गंभीर घायल हो गए और जमीन पर गिर गए। तब तक मौके पर आसपास के लोग तथा रवि और हनी भी मौके पर पहुंचे तो आरोपी वहां से भाग निकला। पड़ौसी पवन मदान ने घायल प्रेमकुमार सरदाना को पीबीएम अस्पताल भर्ती करवाया, जिसकी इलाज के दौरान मौत हो गई थी।