बढ़ती बिजली दरों व पानी की किल्लत को लेकर गहलोत सरकार पर बरसे एमएलए बिश्नोई

कहा- मुफ्त बिजली का वादा, फ्यूल सरचार्ज चार साल में 6 गुना ज्यादा
बीकानेर। भाजपा संभाग कार्यालय बीकानेर में विधायक बिहारीलाल विश्नोई ने बिजली दरों में महंगाई, पानी की किल्लत, महंगाई राहत शिविरों के नाम पर तपती गर्मी में जनता परेशान करना, जनता के पैसे से सरकार का प्रचार-प्रसार करना, पाकिस्तान से आये शरणार्थियों को प्रताडि़त करने सहित अनेक मुद्दों पर प्रेसवार्ता को संबोधित किया। प्रेसवार्ता के दौरान महापौर सुशीला कंवर राजपुरोहित, शहर जिलाध्यक्ष विजय आचार्य एवं मीडिया प्रभारी देवीलाल मेघवाल उपस्थित रहे। कांग्रेस सरकार पर आरोप लगाते हुए विधायक बिहारीलाल विश्नोई ने कहा कि पूर्ववती भाजपा सरकार में जो फ्यूल सरचार्ज 18 पैसे प्रति यूनिट हुआ करता था, वह कांग्रेस सरकार ने बढाकर 60 पैसे प्रति यूनिट औसतन कर दिया। 2018 में बिजली की प्रति यूनिट दरें 5 रूपए 55 पैसे हुआ करती थी वह अब बढाकर 11 रूपए 90 पैसे कर दी गई है। राजस्थान में विद्युत उत्पादन निगम के 10 थर्मल व हाइडल प्लांट और 3 अन्य पावर प्लांट हैं जिनकी कैपेसिटी 8597.35 मेगावाट बिजली उत्पादन की है, लेकिन सरकार की नीतियों के चलते कोयले की कमी, तकनीकी खराबी का बहाना बनाकर यह उत्पादन घटकर महज 3500 से 4000 मेगावाट पर आ गया। प्रदेश सरकार के गलत प्रबंधन के चलते प्रदेश में प्रति माह 5 से 7 थर्मल पावर प्लांट बंद हो जाते हैं। कोयला खरीद में व्याप्त घोटाले का आरोप लगाते हुए विधायक विश्नोई ने कहा कि हाल ही में कोयला कंटेनरों में 30 प्रतिशत कोयले की चोरी पकडी गई है।

जिसमें औसतन एक कंटेनर में दस लाख का कोयला होता है। प्रतिदिन 500 से 600 ट्रकों से कोयला चोरी किया जाता है। ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में अघोषित बिजली कटौती का आरोप लगाते हुए विश्नोई ने कहा कि एक तरफ सरकार 23.309 मेगावाट क्षमता बिजली उत्पादन के साथ सरप्लस बिजली होने की बात कहती है, दूसरी तरफ प्रदेश में शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में 6-10 घंटे अघोषित बिजली कटौती करती है।
बिजली की दरों का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि घरेलू श्रेणी की महंगी बिजली दरों के मामले में राजस्थान देश में चौथे नंबर पर है। प्रदेश के करीब डेढ करोड विद्युत उपभोक्ताओं को 17 रूपए प्रति यूनिट बिजली महंगी दी जा रही है। गहलोत सरकार में साल 2021 में 13 हजार 793 करोड तक की महंगी बिजली खरीदी गई। उसके बावजूद अन्य राज्यों के मुकाबले चालीस प्रतिशत मंहगी बिजली उद्योगों को दी जा रही है। महंगी बिजली खरीद के बाद फिर कटौती का संकट उद्योगों को झेलना पड रहा है, गांवों मे शाम सात बजे से सुबह पांच बजे तक रोटेशन के नाम पर बिजली कटौती की जा रही है। उन्होने कहा कि बिजली और पानी संकट को लेकर भाजपा प्रदेशभर में आंदोलन करेगी आगामी 19 मई को जिला मुख्यालय व उपखण्ड मुख्यालय पर बिजली पानी को लेकर जबरदस्त प्रदर्शन किये जाएंगे।